म. प्र. श्रमजीवी पत्रकार संघ के सदस्यता कार्ड रखें युवक को नकली नोट चलाने और रखने के आरोप में गुजरात पुलिस ने पत्नी सहित किया गिरफ्तार।
गुजरात पुलिस की हिरासत में मध्यप्रदेश का फर्जी नाम पता वाला, लाखो के नकली दो हजार ,पांच सौ के नोट किये जब्त।
गुजरात पुलिस ने रतलाम निवासी दंपत्ति को नकली नोट के साथ हिरासत में लेकर पञकार संगठन का कार्ड बरामद किया।
रतलाम। गुजरात पुलिस ने रतलाम निवासी एक महिला पुरुष को हिरासत में लेकर इनके पास से लाखो रुपये के नकली नोट बरामद किए हैं। इनके कब्जे से म. प्र. श्रमजीवी पञकार संघ का कार्ड मिला है। इस कार्ड पर रवि गुप्ता लिखा है जो जन- जन जागरण का संवाददाता और पता जय भारत नगर लिखा हुआ हैं।
पुलिस की हिरासत में आए युवक ने पहले तो पुलिस को खुद का नाम रवि गुप्ता और पत्नी का नाम विभा गुप्ता बताया था।
पुलिस ने जब इनसे सख्ती से पूछताछ की तो इन्होने अपना नाम राहुल कसेरा और पत्नी का नाम मेघा निवासी माहेश्वरी धर्मशाला के पास कसारा बाजार बताया है।
गुजरात पुलिस के भरोसेंमंद सूञो के मुताबिक रतलाम से एक पति-पत्नी की जोड़ी को बुधवार को कच्छ के भुज शहर में नकली नोटों के साथ गिरफ्तार किया गया, जिनका अंकित मूल्य लगभग 12 लाख रुपये है। दंपति, राहुल कासेरा और उनकी पत्नी मेघा ने 2000 और 500 रुपये के नकली नोटों का उपयोग करके छह से सात दुकानदारों से मोबाइल फोन, कपड़े और जूते खरीदने में कामयाबी हासिल की थी।
लेकिन कुछ व्यापारियों द्वारा नोटों को चेक किया तो ये नोट नकली पाए गए। नकली नोटों की सत्यता के बारे में संदेह होने पर युगल की किस्मत फूट गई। व्यापारियों ने सीसीटीवी फुटेज चेक किया और पुलिस को जोड़े के बारे में जानकारी दी।
पुलिस ने देर रात दंपती को रेलवे स्टेशन पर रोक दिया। पुलिस ने 2,000 रुपये के 574 नोटों को 11.48 लाख रुपये के अंकित मूल्य के साथ और 500 रुपये के 125 नोटों को 62,500 रुपये के अंकित मूल्य के साथ जब्त कर लिया।
दंपति ने नकली नोटों का उपयोग करते हुए 3,700 रुपये के कपड़े और जूते के अलावा 52,000 रुपये के चार मोबाइल फोन खरीदे थे। इन्होने पुलिस को बताया है कि वह रतलाम के बड़े व्यापारी है और रतलाम में इनका बड़ा शोरुम भी है।
आरोपितो के अनुसार मप्र में नोट छापे जाते हैं,और दंपत्ति नकली नोटों को प्रसारित करने के लिए दूर-दूर तक जाते थे। पुलिस ने दंपति से एक कार भी जब्त की।
इधर इस नकली नोट के साथ हिरासत में लिए गए महिला- पुरुष से बरामद पञकार संगठन का कार्ड इनके पास कहां से आया? रवि गुप्ता नाम का कोई पञकार रतलाम के इतिहास में 30 साल से पैदा ही नही हुआ है, तो फिर संगठन ने इसे कार्ड कैसे जारी कर दिया? जिस रवि गुप्ता के नाम पर यह कार्ड है उसका रतलाम के दो बत्ती इलाके में बड़ा शोरुम है।
गुजरात पुलिस के अनुसार वो मामले की सिलसिले वार जांच कर रहे है और संभावना है कि कुछ और नाम सामने आ सकते हैं।
बहरहाल रतलाम निवासी इस दंपति ने रतलाम का नाम समूचे गुजरात में चर्चित कर दिया है।
रमेश मिश्रा के फेसबुक पेज से।

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